मोहब्बत उनकी देखो यारो…
पागल से हो जाते हैं….,
हम पागल मोहब्बत में…,
ओर क़रीब हो जाते हैं….!!
एक पल ना रह पाते बिन उनके…,
दूरी में भी अहसास जिए जाते हैं….!
आज नहीं तो कल मिलन होगा…,
ये सोच बस जिये जाते हैं…!!
मोहब्बत है दिलो में भरी..,
हर रोज इसे बढ़ाते जाते हैं….!
डर था.,एक पल की दूरी भुला न दे उनको…,
अब तो हर एक पल मोहब्बत निभाते जाते है…!!
गुमान है हमारा…, मिलेगे जब…,
एक बार गले लगा लेंगे….!
करेगे दीदार खुली आंखों से…,
आंखों में ही समां लेंगे…..!!
हाथो को छुएंगे प्यार से उनको….,
बाहों में छुपा लेंगे….!
करेगे खूब बाते हम भी…,
वक़्त को भी भुला देंगे…!!
इधर- उधर देखना मजाल क्या…??
निगाहों को जमा लेंगे…!
ओर.., करेगे गर ज़िद जाने की…,
हाथ पकड़ बिठा लेंगे…!!
कसमें…, नाते…, वादे सब….,
सारे पेतडे आजमा लेंगे….!
हम भी अपनी मोहब्ब्त में..,
खुद को मीरां बना लेंगे…,
खुद को मीरां बना लेंगे…!!