ए रमज़ान तेरी आने की खुशी का क्या लिखूं….🥳🤐
यह फिजा में घूली ठंडी-ठंडी हवा तेरे पैगाम दे रही है….🍃🌺
चांद की छोटी सी झलक तेरा आगाज़ कह रही है…🌛
मदमस्त यह रात सुहानी..,बस सहरी का इंतजार कह रही है..🕠
तसव्वूर जो बांधे सहरी का.., तो फज्र की अजान कह रही है..🕌
क्या क्या लिखूं क्या क्या कहूं बसी खुशी यह आवाज कह रही है🥳🥳
खुले आसमान के नीचे यह खुशी आजादी-सी कह रही है🤗
कैसी होगी वह एक-एक किरण…, इस बहारें रमजान की..🌥️
बस यह आंखों से झलकती हंसी पैगाम दे रही है..🌝
मुबारक हो ऐ शहर वासी मीठा रमजान आ गया..🌆
मुबारक हो एक दिल अजीजो..,प्यारा मेहमान आ गया..👭👬
मुबारक हो ऐ गुनहगारों..! इबृत वाला आ गया..🙃
मुबारक हो ऐ गम-गुजारो दिल बहार आ गया…🥴
मुबारक हो -मुबारक हो फिजाओं को मुबारक हो..
हवाओं को मुबारक हो ,बीमारों को मुबारक हो, दुखियारो को मुबारक हो..,🍁🍃🏵️
मुबारक हो मुबारक हो मीठा रमजान मुबारक हो..!!🍱🧕🙇
Ramadan Mubarak
Khair mubark
Khair Mubarak
Tyyy bhuuutttuuuu